tag:blogger.com,1999:blog-4914247499088270007.post7518628131191718311..comments2023-11-05T13:41:33.460+05:30Comments on Blog News: माफियाओं के चंगुल में ब्लागिंग - 2DR. ANWER JAMALhttp://www.blogger.com/profile/06580908383235507512noreply@blogger.comBlogger8125tag:blogger.com,1999:blog-4914247499088270007.post-70766118711309108072011-04-11T18:21:40.406+05:302011-04-11T18:21:40.406+05:30तो हरीश भाई में एक काम करता हूँ गौहत्या की इजाजत द...तो हरीश भाई में एक काम करता हूँ गौहत्या की इजाजत देने वाले कानून को बनाने के लिए भूख हड़ताल करता हूँ..<br />गाली निकली इसलिए माफ़ी भी मांग ली थी ..और सिर्फ सांकेतिक रूप से गाली दी थी..<br />दूसरा मेरे पंक्तिया एक घटना पर लिखी गयी थी ..तालिबान के समय बामियान(अफगानिस्तान) में बुद्ध की सबसे बड़ी प्रतिमाएं तोड़ी गयी और तालिबानियों नए उस स्थल को पवित्र करने के लिए १००० गायों की बलि दी तभी ये पंक्ति मेरे कवी ह्रदय से निकली...आप पूरा पढ़ें इस कविता को..<br /><a href="http://ashu2aug.blogspot.com/2010/10/blog-post_15.html" rel="nofollow">हिंदी कविता-कुछ अनकही कुछ विस्मृत स्मृतियाँ /Ashutosh Nath Tiwari: जेहाद</a>आशुतोष की कलमhttps://www.blogger.com/profile/05182428076588668769noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4914247499088270007.post-59221755897028445602011-04-10T22:29:35.325+05:302011-04-10T22:29:35.325+05:30@ मार्क जी ! आपने हमें हिंदी ब्लॉगर वर्ल्ड में शाम...@ मार्क जी ! आपने हमें हिंदी ब्लॉगर वर्ल्ड में शामिल किया , इसके लिए हम आपके शुक्रगुजार हैं.DR. ANWER JAMALhttps://www.blogger.com/profile/06580908383235507512noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4914247499088270007.post-90300572162661219482011-04-10T22:20:09.890+05:302011-04-10T22:20:09.890+05:30उपेन्द्र के बारे में जानकर कुछ तसल्ली हुई .
मैं मा...उपेन्द्र के बारे में जानकर कुछ तसल्ली हुई .<br />मैं मालिक से दुआ करता हूँ कि आपका भतीजा भी आपकी तरह एक अच्छा ब्लॉगर बने, हमारा बाजू मजबूत करे .<br />आमीन .DR. ANWER JAMALhttps://www.blogger.com/profile/06580908383235507512noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4914247499088270007.post-73536971080802703922011-04-10T22:17:58.330+05:302011-04-10T22:17:58.330+05:30EKDAM SAHI KAHA HAI AAPNE.........AUR ISKA LINK DE...EKDAM SAHI KAHA HAI AAPNE.........AUR ISKA LINK DENE KE LIYE DHANYWAAD.mark raihttps://www.blogger.com/profile/11466538793942348029noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4914247499088270007.post-83719839463335783252011-04-10T13:44:00.972+05:302011-04-10T13:44:00.972+05:30धन्यवाद अनवर भाई, हम उसे पतंजलि चिकित्सालय हरिद्वा...धन्यवाद अनवर भाई, हम उसे पतंजलि चिकित्सालय हरिद्वार ले गए थे. दवा चल रही है, वापस लेकर घर आये हैं. हालात में सुधार हो रहा है. उम्मीद की किरण बची है अभी. आपके दुवाओं ने असर किया है.हरीश सिंहhttps://www.blogger.com/profile/13441444936361066354noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4914247499088270007.post-30872739576656981922011-04-10T12:36:40.758+05:302011-04-10T12:36:40.758+05:30बहुत सही
पर उपदेश कुशल बहुतेरे।बहुत सही<br />पर उपदेश कुशल बहुतेरे।डॉ. रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक'https://www.blogger.com/profile/09313147050002054907noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4914247499088270007.post-30762404393409810062011-04-10T12:27:06.218+05:302011-04-10T12:27:06.218+05:30भाई हरीश जी ! बड़ी धांसू पोस्ट लिखी है आपने। हमारी ...भाई हरीश जी ! बड़ी धांसू पोस्ट लिखी है आपने। हमारी वाणी के मार्गदर्शक मंडल की नीतियां साझा ब्लॉग के खि़लाफ़ हैं। हरेक साझा ब्लॉग के अपने मक़सद हैं। कोई लेखक कहां पोस्ट डाल रहा है और कितनी जगह डाल रहा है ?<br />यह मैटर ब्लॉग के संयोजक-संपादक और लेखक के बीच का है न कि एग्रीगेटर का। अगर वह एक पोस्ट को एक से ज़्यादा बार अपने मेनपेज पर नहीं दिखाना चाहता है तो वह एक पोस्ट को ही दिखाए और अन्य को हटा दे। यह अधिकार उसे है। लेकिन यह क़तई दुरूस्त नहीं है कि इसके लिए वह साझा ब्लॉग को निलंबित कर दे और उनके संयोजकों से माफ़ियां मंगवाए। हमने न तो माफ़ी मांगी है और न ही इसे अपना कोई जुर्म मानते हैं कि इसके लिए हम माफ़ी मांगें।<br />हां, हमारी वाणी को नैतिक रूप से अपनी ग़लती स्वीकारते हुए अकारण निलंबित किए गए साझा ब्लाग्स के संयोजकों से ज़रूर माफ़ी मांगनी चाहिए और अगर वह हठवश माफ़ी नहीं भी मांगती है, तब भी हम उसे माफ़ कर देंगे क्योंकि हमारा दिल बड़ा है।<br />मैंने हमारी वाणी को बताया है कि साझा ब्लॉग के संयोंजक को बहुत से काम रहते हैं और बिजली सप्लाई भी अनियमित है, ऐसे में उसके लिए हर समय इंटरनेट पर मौजूद रहना संभव ही नहीं है। उदीयमान हिंदी ब्लॉगर में एक जज़्बा होता है कि मेरे लेख को ज़्यादा से ज़्यादा ब्लॉग पर देखा जाए। उनके जज़्बे पर नियम के हथौड़े चलाए जाएंगे तो हिंदी ब्लॉगिंग को हानि ही पहुंचेगी। फ़ेसबुक पर एक ही पोस्ट, एक ही आदमी का फ़ोटो हज़ारों और लाखों जगह पड़ा रहता है और उसे उसकी लोकप्रियता माना जाता है। तब हिंदी एग्रीगेटर उसके विपरीत जा रहे हैं जो कि हमारी वाणी और हिंदी ब्लॉगिंग दोनों के ही विपरीत है।<br />हमारी वाणी की देखा-देखी एक और एग्रीगेटर ने भी साझा ब्लाग के रास्ते में दिक्कतें खड़ी कर दी हैं। हरेक एग्रीगेटर निजी और सामूहिक ब्लॉग की मनमाफ़िक परिभाषाएं गढ़कर नियम पे नियम पेले जा रहा है। <br />जानना चाहिए कि साझा ब्लॉग एक मंच मुहैया कराता है हिंदी ब्लॉगर्स को आपस में जुड़ने के लिए। बातें फ़ासलों की दीवारें गिराती हैं और प्यार की फ़सल उगाती हैं बशर्ते कि अपने नज़रिये को बयान करने साथ साथ दूसरों के नज़रियों को, उनके हालात को भी सहानुभूतिपूर्वक समझने की कोशिश की जाए। आम तौर पर साझा ब्लॉग पर लेखक संयत भाषा का प्रयोग करते हैं और उन्हें दूसरों के नज़रियों से भी अवगत होने का मौक़ा मिलता है जो कि एक बेहतर समाज के निर्माण के लिए आवश्यक है। साझा हित के लिए काम करने वाले साझा ब्लॉग को ब्लॉग माफ़ियाओं के चंगुल से आज़ाद रखने की हरसंभव कोशिश की जानी चाहिए। जब तक हमारी वाणी आपके ब्लॉग बिना किसी माफ़ीनामे के स्वीकार नहीं करेगी, तब तक हम भी अपने दो साझा ब्लॉग को हमारी वाणी पर नहीं भेजेंगे। एकता में बल है और हम आपके साथ हैं बिना आपसे किसी बदले की अपेक्षा के। आप पर कोई दबाव नहीं है, आप जो चाहें वह निर्णय करने के लिए स्वतंत्र हैं। हम आपके साथ हैं हर हाल में।<br />आपके भतीजे उपेन्द्र की तबीयत अब कैसी है ?<br />चिकित्सा के लिए आप उसे जहां ले गए थे, वहां उसे क्या उपचार दिया गया और क्या कहा गया उसके बारे में ?<br /><br /><a href="http://commentsgarden.blogspot.com/2011/04/no-problem.html" rel="nofollow">एक और एग्रीगेटर ने भी साझा ब्लाग के रास्ते में दिक्कतें खड़ी कर दी हैं No Problem </a>DR. ANWER JAMALhttps://www.blogger.com/profile/06580908383235507512noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4914247499088270007.post-83519944730788265502011-04-10T11:38:00.002+05:302011-04-10T11:38:00.002+05:30आपकी पोस्ट वैचारिक पोषण मुहैया कराती है .
भय्या , ...आपकी पोस्ट वैचारिक पोषण मुहैया कराती है .<br />भय्या , आपने इस पोस्ट के लिए ‘ब्लॉग की ख़बरें‘ पर जो फ़ोटो आपने डाला है, बड़ा ग़ज़ब फ़ोटो है। पूरी पोस्ट फ़ोटो से ही प्रकट हो जाती है।<br /><br /><a href="http://blogkikhabren.blogspot.com/2011/04/dr-t-s-daral.html" rel="nofollow">आकांक्षा जी , यह पहली पोस्ट है जो इस विषय पर अलग नज़रिया दर्शा रही है</a><br /><br /><a href="http://commentsgarden.blogspot.com/2011/04/anna-hajare.html" rel="nofollow">अन्ना हज़ारे का काम प्रशंसनीय है लेकिन हमें और भी ज़्यादा गहरी नज़र से देखना होगा Anna Hajare</a>DR. ANWER JAMALhttps://www.blogger.com/profile/06580908383235507512noreply@blogger.com