काम वासना का ज्वार जब आता है तो मान मर्यादा की सीमाएं तोड़ कर रख देता है। इसे साधने का सबसे अच्छा उपाय गृहस्थ जीवन है। इस घटना से यही सीख मिलती है।
दोष हम किसी को देते नहीं हैं।
हरेक नर नारी अपने किए कर्मों का फल अवश्य भोगेगा।
यहां नहीं तो परलोक में भोगेगा।
न्याय तो यहां किसी के साथ होता नहीं है।
देखिये जनाब महेंद्र श्रीवास्तव जी का लेख :
दोष हम किसी को देते नहीं हैं।
हरेक नर नारी अपने किए कर्मों का फल अवश्य भोगेगा।
यहां नहीं तो परलोक में भोगेगा।
न्याय तो यहां किसी के साथ होता नहीं है।
देखिये जनाब महेंद्र श्रीवास्तव जी का लेख :
गर्भवती हो गई थीं साध्वी !
मुझे नहीं पता कि सच क्या है, लेकिन भगवाधारियों के बारे में समय समय पर जिस तरह की बाते सामने आती हैं, वो इस समाज की बहुत ही भयावह तस्वीर सामने रखती हैं। मेरा मानना है कि आज भी संत समाज पर दुनिया यकीन करती है। यही वजह है कि कथा कीर्तन में हजारों लोग जमा होते हैं। पर एक के बाद एक ऐसे ही भगवाधारियों के बारे में कथा कहानी सामने आएगी, तो निश्चित ही संत समाज को भी कटघरे में खड़ा होना पडेगा। जब भी संतो पर ऐसे गंभीर आरोप लगते हैं, मेरे सामने स्वामी नित्यानंद की वो सीडी घूमने लगती है, जिसमें वो दक्षिण भारत की एक अभिनेत्री के साथ अश्लील हरकत करते हुए कैद हुए थे।
आमतौर पर कोई महिला ऐसे संगीन आरोप नहीं लगाती है, फिर साध्वी तो यहां तक कह रही हैं कि वो गर्भवती हो गई थीं। उन्हें खाने के साथ कोई नशीला पदार्थ दिया गया, उसके बाद स्वामी ने उनके साथ कुकर्म किया।
8 comments:
ये डर्टी-सेक्स क्या होता है? सेक्स तो सेक्स होता है ...बस पात्र, समय व मन्तव्य गलत या डर्टी होता है...
----सही है इस आकर्षण से कोई नहीं बच पाता....सिर्फ़ भगवा नहीं ...अमेरिका,योरोप में व विश्व भर में फ़ादरों व ननों, इमामों सभी के कुकर्म भी एक रिवाज़ की भांति शामिल हैं...अत: जो कठिन साधना को न निभा पाये उसे पुन: ग्रहस्थ धर्म में आजाना चाहिये ...कोई बात नहीं क्योन्कि गलती दोनों ओर से होती है....
संत समाज की बुराई को आमलोगों तक पहुंचाने के लिए जरूरी है कि लोगों तक इस मामले को पहुचाया जाए..
आपका शुक्रिया
सब माया है इसके प्रभाव से कोई भी नहीं बच पाया है, विस्वामित्र भी नहीं
From Great talent
Ab har koi anwar jamal ji ki tarah to hoga nahi. SADHAK
So what is the solution of this problem. This is a fact that only laws can not stop such events. So what is the right path, people should be taught about, so that they can behave well in all situations and places.
These type of Paaps are bound to happen while following an un-natural way of life.
Any faith which is un-natural and illogical can't be part of "Satya Dharam" A lot of man made faiths have been added to "Dharam" and under this heap of these the "Real Dharam" has beeen completely disappeared.
The only solution is to find out and reversion to original and Un-adultrated Dharam.
बड़ा मुश्किल है इन पर भरोसा करना।
धर्म गुरुओं द्वारा शोषण की नित-नई घटनाये दर्शाती है की किस तरह समाज को बेवकूफ बना कर अपना उल्लू सीधा किया जा रहा है.
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