जो लोग भ्रष्टाचार को शासन का मसला समझ कर इसे राजनीतिक स्तर पर हल करना
चाहते हैं, वे सरासर ग़लतहैं. भ्रष्टाचार समाज में हरेक स्तर पर मौजूद है.
समाज को नैतिक रूप से मज़बूत किये बिना भ्रष्टाचार को समाप्त नहीं किया जा
सकता, राजनीतिक भ्रष्टाचार को भी नहीं क्योंकि राजनेता समाज से ही आते हैं.
यह सच्चाई वे लोग भुला देते हैं जो भ्रष्टाचार को मिटाना नहीं चाहते बल्कि अपनी महत्वाकांक्षा पूरी करना चाहते हैं.
अरविन्द केजरीवाल ऐसे ही एक महत्वाकांक्षी आदमी मालूम होते हैं. अन्ना और जो भी उनके साथ है, वह या तो उनके जैसा है या फिर इस्तेमाल हो रहा है. अब ये लोग राजनीति में आने वाले हैं तो ये भी उन लोगों जैसे ही हो जायेंगे जो लोग इनसे पहले राजनीति में मौजूद हैं.
यह सच्चाई वे लोग भुला देते हैं जो भ्रष्टाचार को मिटाना नहीं चाहते बल्कि अपनी महत्वाकांक्षा पूरी करना चाहते हैं.
अरविन्द केजरीवाल ऐसे ही एक महत्वाकांक्षी आदमी मालूम होते हैं. अन्ना और जो भी उनके साथ है, वह या तो उनके जैसा है या फिर इस्तेमाल हो रहा है. अब ये लोग राजनीति में आने वाले हैं तो ये भी उन लोगों जैसे ही हो जायेंगे जो लोग इनसे पहले राजनीति में मौजूद हैं.
3 comments:
गिरगिटान कश्मीर पर, दिखलाये निज रंग ।
देखो अन्ना टीम का, बदला बदला ढंग ।
बदला बदला ढंग, चुकाया बढ़िया बदला ।
चोला बदले छद्म, बना के सबको पगला ।
भाजप राजद शरद, सपा तृण-मूल खलेगा ।
बासठ शठ दल खड़े, अब तिर-शठ भी छलेगा ।
कबीरा तेरी झोंपड़ी ,गल -कटियन के पास ,करेंगे सो भरेंगे ,तू क्यों भयो उदास .
यह तो काजल की कोठरी में भेज कर ही जाना जा सकता है.... अनगिनत शहादत के बाद आजादी की थोड़ी रौशनी हुन्दुस्तान में आई थी जो फिर लुप्त हो रही है.... कुछ तो सोचना होगा... सभी को...
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