ब्लॉगभूमि के महारथी आदरणीय श्री रूपचंद शास्त्री ‘मयंक‘ जी ने अपने निजी और साझा दोनों ही ब्लॉग पर सूचना दी थी कि आज खटीमा में एक काव्य गोष्ठी का आयोजन किया जाएगा। उन्होंने सभी को आमंत्रित भी किया था। हम जा तो न पाए लेकिन दिल वहीं पड़ा रहा। अब उनसे हाल-अहवाल पूछने के लिए फ़ोन किया तो पता चला कि काव्य गोष्ठी साढ़े चार घंटे तक चली। इसे बिला शुब्हा सुपर हिट कहा जा सकता है। इसमें दूर-दराज़ के औरत-मर्द और हिंदू-मुस्लिम साहित्यकारों के अलावा प्रशासनिक अधिकारी और राज्यमंत्री भी मौजूद रहे। अमर उजाला, दैनिक जागरण और हिन्दुस्तान जैसे राष्ट्रीय अख़बारों के प्रतिनिधि भी कवरेज के लिए मौजूद थे और ईटीवी और ईटीवी 100 तथा साधना न्यूज़ की ओर से श्री कमलेश भट्ट आदि भी अपने अपने चैनल्स के लिए वहां अपने पूरे ताम झाम के साथ मौजूद थे।
अभी ईमेल खोलकर देखी तो वहां शास्त्री जी की ओर से एक ईमेल भी रिसीव हो चुकी है। इसमें उन्होंने फ़ेस बुक का लिंक दे रखा है। इस लिंक पर उनकी काव्य गोष्ठी का वीडियो मौजूद है। आप इसका घर बैठे लुत्फ़ उठा सकते हैं : http://bambuser.com/channel/Dr.+Roop+Chandra+Shastri/broadcast/1827248
इस काव्य गोष्ठी में राज्य मंत्री (नगर विकास परिषद उत्तराखंड के उपाध्यक्ष) श्री पुष्कर सिंह धामी जी और ऊधम सिंह नगर के एस. पी. श्री अशोक भट्ट मौजूद थे। श्री अशोक भट्ट जी एक बेहतरीन साहित्यकार भी हैं। साहित्य शारदा मंच के तत्वाधान में आयोजित यह काव्य गोष्ठी इन्हीं की अध्यक्षता में संपन्न हुई। इस मंच के अध्यक्ष श्री रूपचंद शास्त्री ‘मयंक‘ जी ने इस अवसर पर श्री अशोक भट्ट जी को इस मंच की ओर से सर्वोच्च मानद उपाधि ‘साहित्य श्री‘ से अलंकृत भी किया।
साहित्यकारों में लाल कुआं नैनीताल से श्रीमति आशा शैली (संपादक शैलसूत्र त्रैमासिक), किच्छा से नबी अहमद मंसूरी, रामनगर से सग़ीर अशरफ़, पीलीभीत से श्री देवदत्त प्रसून, श्री जितेश राज, श्री रामकुमार शर्मा और श्री दीप जी आदि थे। अन्य जगहों से भी बहुत से साहित्यकार पधारे थे।
आदरणीय शास्त्री सोने के लिए बेड पर लेट चुके थे। सो सारे नाम तो कल वही बताएंगे लेकिन ‘ब्लॉग की ख़बरें‘ आपको ताज़ातरीन ख़बरें देने के लिए कटिबद्ध है। सो जो बात आपको कल पता चलेगी तो क्यों न वह सूचना आपको आज ही उपलब्ध करा दी जाए ?
धरा में जो दरारें थी, मिटी बारिश की बून्दों से,
फ़ेस बुक का लिंक यह है, जहां इस काव्य गोष्ठी का वीडियो भी उपलब्ध है :
अभी ईमेल खोलकर देखी तो वहां शास्त्री जी की ओर से एक ईमेल भी रिसीव हो चुकी है। इसमें उन्होंने फ़ेस बुक का लिंक दे रखा है। इस लिंक पर उनकी काव्य गोष्ठी का वीडियो मौजूद है। आप इसका घर बैठे लुत्फ़ उठा सकते हैं : http://bambuser.com/channel/Dr.+Roop+Chandra+Shastri/broadcast/1827248
इस काव्य गोष्ठी में राज्य मंत्री (नगर विकास परिषद उत्तराखंड के उपाध्यक्ष) श्री पुष्कर सिंह धामी जी और ऊधम सिंह नगर के एस. पी. श्री अशोक भट्ट मौजूद थे। श्री अशोक भट्ट जी एक बेहतरीन साहित्यकार भी हैं। साहित्य शारदा मंच के तत्वाधान में आयोजित यह काव्य गोष्ठी इन्हीं की अध्यक्षता में संपन्न हुई। इस मंच के अध्यक्ष श्री रूपचंद शास्त्री ‘मयंक‘ जी ने इस अवसर पर श्री अशोक भट्ट जी को इस मंच की ओर से सर्वोच्च मानद उपाधि ‘साहित्य श्री‘ से अलंकृत भी किया।
साहित्यकारों में लाल कुआं नैनीताल से श्रीमति आशा शैली (संपादक शैलसूत्र त्रैमासिक), किच्छा से नबी अहमद मंसूरी, रामनगर से सग़ीर अशरफ़, पीलीभीत से श्री देवदत्त प्रसून, श्री जितेश राज, श्री रामकुमार शर्मा और श्री दीप जी आदि थे। अन्य जगहों से भी बहुत से साहित्यकार पधारे थे।
आदरणीय शास्त्री सोने के लिए बेड पर लेट चुके थे। सो सारे नाम तो कल वही बताएंगे लेकिन ‘ब्लॉग की ख़बरें‘ आपको ताज़ातरीन ख़बरें देने के लिए कटिबद्ध है। सो जो बात आपको कल पता चलेगी तो क्यों न वह सूचना आपको आज ही उपलब्ध करा दी जाए ?
मंच से काव्य पाठ करते शास्त्री ने अपनी यह रचना पढ़ी ‘गगन में छा गये बादल’
काव्य गोष्ठी की तस्वीरों का नज़ारा कीजिए इस लिंक पर |
हमारे गाँव में भी आज, चल कर आ गये बादल।।
गरज के साथ आयें हैं, बरस कर आज जायेंगे,
सुहानी चल रही पुरवा, सभी को भा गये बादल।
हमारे गाँव में भी आज, चल कर आ गये बादल।।
धरा में जो दरारें थी, मिटी बारिश की बून्दों से,
किसानों के मुखौटो पर, खुशी चमका गये बादल।
हमारे गाँव में भी आज, चल कर आ गये बादल।।
पवन में मस्त होकर, धान लहराते फुहारों में,
पहाड़ों से उतर कर, मेह को बरसा गये बादल।
हमारे गाँव में भी आज, चल कर आ गये बादल।।
फ़ेस बुक का लिंक यह है, जहां इस काव्य गोष्ठी का वीडियो भी उपलब्ध है :
मयंक शास्त्री posted in हिंदी ब्लॉग्गिंग गाइड.
खटीमा में सम्पन्न आज की कवि गोष्ठी की वीडियो यहाँ पर है! http://www.facebook.com/l/ |