लेखकJan 25, 2014 11:56 AMसभी पोस्ट देखें
हम जब चाहे तब ख़ुश हो सकते हैं, जितना चाहे उतना ख़ुश हो सकते हैं और जब तक चाहे तब तक ख़ुश रह सकते हैं। हमें ख़ुश करने वाला अगर कोई है तो वह हम ख़ुद हैं। हमें कोई हादसा दुख नहीं दे सकता। हमें कोई आदमी दुखी नहीं कर सकता। अगर हमें कोई दुखी कर सकता है तो...आगे पढ़ें...कोई कॉमेंट नहीं
दिवंगत अमर रहे, इसलिए मृत्यु की पुष्टि होते ही परिजन करवाते है,नेत्रदान
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दिवंगत अमर रहे, इसलिए मृत्यु की पुष्टि होते ही परिजन करवाते है,नेत्रदान
2. चिकित्सक पिता का पुत्र ने और दादी माँ का पौत्र ने कराया नेत्रदान
हाडोती संभाग...
2 comments:
बहुत सुन्दर प्रस्तुति।
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गणतन्त्रदिवस की हार्दिक शुभकामनाएँ।
जय भारत।
भारत माता की जय हो।
बहुत सुन्दर प्रस्तुति।
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गणतन्त्रदिवस की हार्दिक शुभकामनाएँ।
जय भारत।
भारत माता की जय हो।
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